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मुख्य वन संरक्षक एवं नमामि गंगे परियोजना निदेशक संतोष विजय शर्मा पहुंचे परमार्थ निकेतन

मुख्य वन संरक्षक एवं नमामि गंगे परियोजना निदेशक संतोष विजय शर्मा पहुंचे परमार्थ निकेतन

ऋषिकेश, 12 जून; मुख्य वन संरक्षक एवं नमामि गंगे परियोजना निदेशक संतोष विजय शर्मा जी अपने परिवार के साथ परमार्थ निकेतन पहुंचे. श्री शर्मा ने सहपरिवार परमार्थ निकेतन के परमाध्यक्ष स्वामी चिदानन्द सरस्वती जी महाराज से भेंट की. स्वामी जी महाराज ने उनसे गंगा के तटों को हरा-भरा करने, मिट्टी के कटाव को रोकने के लिये जड़दार पौधों का रोपण, जंगली जानवरों की आवाजाही आबादी वाले क्षेत्र में रोकने के लिये कांटेदार एवं झाड़ीदार पौधों के रोपण, जल संचयन, एनिमल सर्वाइवल जैसे अनेक विषयों पर विचार विमर्श किया.

हरिद्वार में  स्थित झिलमिल झील तथा ऋषिकेश में स्थित संजय झील तथा अन्य झीलों के किनारों पर वृक्षारोपण करने एवं अन्य उपायों पर भी विचार किया गया तथा सरकार के साथ मिलकर कार्य करने  पर विचार किया गया. स्वामी जी महाराज ने वृक्षारोपण हेतु जन जागरण अभियान चलाने पर भी चर्चा की. रिस्पना के किनारों पर वृक्षारोपण हेतु वन अनुसंधान संस्थान द्वारा बनायी गयी विशद रिपोर्ट पर भी चर्चा की गयी. स्वामी जी महाराज ने कहा कि भारत को हरित, विकसित और समृद्ध भारत बनाने हेतु मिलकर कार्य करने की बात कही.

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स्वामी जी महाराज ने कहा कि आगामी प्रयाग कुम्भ मेले के दौरान हम जन जागरण अभियान चला सकते है. कुम्भ के दौरान लाखों श्रद्धालु वहां पर आते है उन्हे पौधों के महत्व, मानव शरीर के लिये पेड़ों की जरूरत तथा पौधों से प्राप्त होने वाली प्राणवायु आॅक्सीजन के महत्व के विषय में जागरूक करने को लेकर विस्तृत चर्चा हुई.

स्वामी जी ने बताया की नमामि गंगे एवं वन विभाग के साथ मिलकर पक्षियों, बन्दरों और अन्य जानवरों की रूचि के पौधों के रोपण हेतु विचार विमर्श किया ताकि जंगली जानवर जंगल से बाहर न आ पाये.  साथ ही खैर, पीपल, शीशम, बरगद, आम, जामुन के पौधों के रोपण के विषय में चर्चा की.

स्वामी जी ने कहा कि कावड़ मेला के दौरान 60 से 80 लाख युवा श्रद्धालु यात्रा पर आते है उन्हें सेवा कार्य के लिये प्रशिक्षित करना बेहतर होगा. स्वामी जी ने बताया की इस कावड़ यात्रा के दौरान गंगा एक्शन परिवार, परमार्थ निकेतन, वन विभाग और अन्य कई संस्थाओं के साथ मिलकर जल सेवा, चिकित्सा सेवा और पपेट शो, संतों के प्रेरणादायी संदेश शार्ट फिल्म के माध्यम से स्वच्छता एवं वृक्षारोपण हेतु जागरूता अभियान भी चलाया जायेगा.
स्वामी जी ने कहा कि हमें प्रकृति के प्रति अपनत्व को बढ़ाने के लिये लोगों को जागरूक करना होगा तभी हम प्रकृति से सम्बंध स्थापित कर सकते है.
स्वामी चिदानन्द सरस्वती जी महाराज ने मुख्य वन संरक्षक एवं नमामि गंगे परियोजना निदेशक संतोष विजय शर्मा  जी एवं परिवार के सदस्यों को पर्यावरण संरक्षण का प्रतीक रूद्राक्ष का पौधा भंेट किया साथ ही विश्व स्तर पर स्वच्छ जल की आपूर्ति हेतु वाटर ब्लेसिंग सेरेमनी सम्पन्न की.

 

Post By Shweta