राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की 150वीं जयंती पर राष्ट्रपति का पहला आयोजन
- राष्ट्रपति करेंगे ‘अध्यात्म द्वारा समाज और मानवता का उत्थान’ सम्मेलन का दिल्ली में उदघाटन
- हिंसा से समाज को दूर रखना होगा – आचार्य लोकेश
नई दिल्ली : भारत के राष्ट्रपति माननीय श्री राम नाथ कोविंद 26 सितंबर 2019 को प्रात: 11 बजे जनपथ स्थित डा. अम्बेडेकर इंटरनेशनल सेंटर में देश को पहली बार राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की 150वीं जन्म जयंती पर संबोधित करेंगे। राष्ट्रपति इस अवसर पर अहिंसा विश्व भारती संस्था द्वारा द्वारा आयोजित सम्मेलन ‘अध्यात्म द्वारा समाज और मानवता का उत्थान’ का उदघाटन करेंगे। उल्लेखनीय है कि महात्मा गांधी की शिक्षाओं को जन जन तक ले जाने के उद्देश्य से देश विदेश मे 24 सम्मेलनों का आयोजन किया जा रहा है। इस शृंखला के अंतर्गत भारत की राजधानी दिल्ली में अंतर्राष्ट्रीय स्तर के सम्मेलन का आयोजन किया जा रहा है। इन 24 कार्यक्रमों का समापन न्यूयॉर्क के संयुक्त राष्ट्र के सभागार में एक भव्य समारोह के रूप मे होगा।
आचार्य लोकेश ने महात्मा गांधी के विचारों पर चर्चा करते हुये कहा कि महात्मा गांधी का जीवन जैन दर्शन से बहुत प्रभावित रहा। श्रीमद् रायचंद को उन्होने अपना आध्यात्मिक गुरु माना तथा 1893 में स्वामी विवेकानंद के साथ शिकागो में विश्व धर्म संसद को संबोधित करने वाले श्री वीरचंद राघव जी गांधी उनके परम मित्रों में रहे | यही कारण है स्वयं महात्मा गांधी ने इस बात का उल्लेख किया कि मुझे अहिंसा की गहरी समझ जैन धर्म से प्राप्त हुई। आचार्य लोकेश ने कहा कि मौजूदा समय में महात्मा गांधी के विचारों कि बहुत आवश्यकता है। संतुलित समाज की संरचना के लिए महात्मा गांधी के आदर्शों पर आधारित जीवन शैली को अपनाना आवश्यक है।
दिल्ली में राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की 150वीं जन्म जयंती वर्ष शुरू होने से एक सप्ताह पहले अहिंसा विश्व भारती संस्था के प्रणेता आचार्य लोकेश ने इस आयोजन के माध्यम से यह प्रण लिया कि समाज में फ़ैल रही हिंसा को कम करने के लिए एक मुहिम चलाएँगे। आज हम धर्म के नाम पर हो रही हिंसा से भयग्रस्त हैं और इसका कोई समाधान भी नजर नहीं आ रहा है | उनका विचार है कि राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के सिद्धांतों और विचारों से ज्यादा प्रभावी कोई विचार नहीं होगा, जिससे आज समाज में फैला मौब, लिंचिंग जैसी घटनाओं से लड़ा जा सके।
इस कार्यक्रम मे राष्ट्रपति का खास अभिभाषण होगा और साथ ही सामाजिक न्याय और अधिकारिता के केंद्रीय मंत्री डा, थावरचंद गहलोत भी सम्मेलन में अपने विचार व्यक्त करेंगे।
डा. अजीत गुप्ता, श्री राज कुमार जैन, श्री सुभाष ओसवाल एवं श्री मनोज जैन ने बताया कि सम्मेलन कि तैयारियां ज़ोर शोर से चल रहीं है| देश विदेश में निमंत्रण पत्र भेजे जा चुके हैं। देश के कोने कोने से ही नहीं बल्कि अमेरिका, ब्रिटेन, कनाडा, सिंगापुर, मलेशिया आदि देशों से भी सम्मेलन मे भाग लेने के लिए अनेक विशिष्ठ लोगो ने सहमति दे दी है। सम्मेलन में अमेरिका से श्री करमजीत धालीवाल, चेन्नई से श्री अभय कुमार जैन, अहमदाबाद से श्री गनपत चौधरी सम्मेलन में भाग लेने के लिए जल्द ही दिल्ली आने वाले है।